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Saturday, July 27, 2024

जिस उम्र में होता है कंफ्यूजन,आर्ट्स लें या कॉमर्स, शुरू कर दी जेईई की तैयारी

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JEE Success Story: जिस उम्र में बच्चों को ये कंफ्यूजन रहता है कि आर्ट्स लें या साइंस या कॉमर्स, उस उम्र में एक लड़की ने जेईई मेन की तैयारी शुरू कर दी थी. उन्होंने अपना टारगेट सेट कर रखा था. इसके बाद उन्होंने जेईई मेन की परीक्षा दी और 34वीं रैंक हासिल की. वह अपने पिता के नक्शे कदम पर चलना चाहती हैं. उनके पिता भी एक इंजीनियर हैं. इंजीनियरिंग की पढ़ाई की चाहत रखने वाले उम्मीदवारों का सपना भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (IIT) में दाखिला लेने का होता है. इसके लिए उम्मीदवारों को जेईई मेंस की परीक्षा को पास करना होता है. इसे पास किए बिना इस सपने को पूरा नहीं कर सकते हैं. आईआईटी से पढ़ाई करने के लिए जेईई एक एंट्री गेट है.

जेईई में हासिल की 34 रैंक
जेईई की परीक्षा में 34 रैंक हासिल करने वाली लड़की का नाम सानवी जैन है. सानवी जैन ऑल इंडिया रैंक 34 के साथ अखिल भारतीय लड़कियों की टॉपर के रूप में उभरीं हैं. सानवी ने एक इंटरव्यू में परीक्षा की तैयारी के दौरान आने वाली चुनौतियों को साझा किया है. उन्होंने कहा कि मेरे पास उतार-चढ़ाव दोनों थे. कभी-कभी, मैं अच्छा स्कोर नहीं कर पाती थी. फिर, मुझे यह देखना पड़ता था कि मैं अपनी कॉन्सेप्ट में कहां गलत हो रही हूँ. कभी-कभी, मुझे ऑर्गेनिक केमेस्ट्री का अध्ययन करते समय कठिनाइयों का सामना करना पड़ा क्योंकि इसके लिए मुझे बहुत कुछ याद रखना पड़ता था. मुझे कुछ चुनौतियों का सामना करना पड़ा, लेकिन मैं सफल रही.

पिता के नक्शेकदम पर चल पड़ी
सानवी जैन बेंगलुरू की रहने वाली हैं. वह अपने पिता के नक्शे कदम पर चलना चाहती हैं, जो एक इंजीनियर भी हैं. वह एक मीडिया इंटरव्यू में कहा कि मैंने कक्षा 9वीं से अपनी तैयारी शुरू कर दी थी, लेकिन उस समय मैं केवल कुछ प्रतियोगी परीक्षाओं को पास करना चाहती थी. कक्षा 11वीं में ही मैंने पूरी तरह से जेईई मेन की तैयारी पर फोकस शुरू कर दिया था. यह सफर बहुत आसान नहीं रही. कुछ उतार-चढ़ाव भी आए, लेकिन मेरे परिवार और शिक्षकों के समर्थन ने मुझे आगे बढ़ने में मदद की.

IIT बॉम्बे या IISc से करना चाहती है पढ़ाई
कई छात्रों ने परीक्षा में विसंगतियों का आरोप लगाया और दावा किया कि हर साल जेईई मेन के लिए कठिनाई का लेवल कठिन होता जा रहा है. उन्होंने कहा कि प्रतियोगिता बढ़ रही है क्योंकि अधिक छात्र परीक्षा के लिए उपस्थित हो रहे हैं, लेकिन कठिनाई का लेवल नहीं बढ़ रहा है. सानवी जैन आईआईटी बॉम्बे या आईआईएससी बैंगलोर से पढ़ाई करना चाहती है, लेकिन उन्होंने अभी तक इंजीनियरिंग ब्रांच फाइनल नहीं की है.

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Tags: Iit, IIT Bombay, Jee main, Success Story, Womens Success Story



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