गाजीपुर: प्रकृति ने हमें फल, फूल औऱ सब्जियों का ऐसा खजाना दिया है कि अगर इनका सही इस्तेमाल पहचान गए तो इनके सेवन से हमेशा स्वस्थ रह सकते हैं. ऐसा ही एक फल या सब्जी है सहजन. इसे अंग्रेजी में ड्रमस्टिक भी कहा जाता है. इसे पोषण का पावरहाउस माना जाता है. यह विटामिन ए, सी और कैल्शियम का भरपूर स्रोत है. इसके एंटीऑक्सीडेंट और एंटी-इन्फ्लेमेटरी गुण महिलाओं के थायराइड और हार्मोन बैलेंस में मदद करते हैं.
पोषक तत्वों की है भरमार
गृह विज्ञान विशेषज्ञ रागिनी दुबे का कहना है कि सहजन सेहत में सुधार के लिए एक बेहतरीन उपाय है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी सहजन के उपयोग को बढ़ावा दे रहे हैं जो इसे घर-घर पहुंचाने में मदद कर रहा है. सहजन में एंटीऑक्सीडेंट, एंटी इन्फ्लेमेटरी गुण होते हैं. सहजन खाने से चेहरे पर निखार आता है. सहजन इम्यून सिस्टम को अच्छा रखता है. इसमें 96 एंटीऑक्सीडेंट होते हैं.
सहजन से बनने वाली हेल्दी और टेस्टी रेसिपी
सहजन का सूप: सहजन की पत्तियों में काली मिर्च, नमक और पानी मिलाकर उबालें. यह शरीर को ऊर्जा देने और इम्यून सिस्टम को मजबूत करने के लिए आदर्श है.
सहजन का पराठा: पत्तियों को छोटे-छोटे टुकड़ों में काटें फिर आटे में अजवाइन, काली मिर्च, लाल मिर्च और नमक डालें. आटा गूंथकर पराठा बनाएं. यह स्वाद और पोषण का परफेक्ट कॉम्बिनेशन है.
हर मौसम में सहजन का इस्तेमाल कैसे करें?
सहजन हर मौसम में आसानी से उपलब्ध नहीं होता. रागिनी दुबे बताती हैं कि इसकी पत्तियों को सुखाकर पाउडर बनाया जा सकता है. यह पाउडर लंबे समय तक स्टोर किया जा सकता है और सूप या अन्य व्यंजनों में इस्तेमाल किया जा सकता है. सहजन का पौधा केवल एक साल में खाने योग्य हो जाता है जो इसे ग्रामीण क्षेत्रों के लिए एक सस्टेनेबल विकल्प बनाता है.
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FIRST PUBLISHED : November 19, 2024, 10:02 IST