18.5 C
Munich
Saturday, July 27, 2024

अनीता जैसी दर्जनों लड़कियों का सहारा बना छांव फाउंडेशन

Must read


सुमित राजपूत/नोएडा: देश में हर साल महिलाओं पर एसिड अटैक के 100 से ज्यादा मामले दर्ज होते हैं. इतनी सख्ती के बाद भी सैकड़ों महिलाओं इस तरह के हमलों का शिकार होना पड़ता है. ऐसे में बीते कई सालों से छांव फाउंडेशन अनीता और ऋतु जैसी एसिड अटैक की पीड़ित दर्जनों महिलाओं के हक की बात  उठा रहा है और उन्हें न्याय दिलाने के लिए प्रयासरत है. बीते छः महीने पहले महाराष्ट्र की रहने वाली अनीता नरवटे के ऊपर उसके पति ने ही तेजाब से हमला कर दिया. अब संस्था अनीता को अपने साथ जोड़कर उनकी सहायता कर रही है और ऐसी सैकड़ों महिलाओं के लिए जीने की आश बनी है.

इलाज के साथ नौकरी का आश्वासन
अनीता मूल रूप से महाराष्ट्र के लातूर की रहने वाली हैं. उन्होंने बताया कि उनकी शादी प्रदेश के सामूहिक विवाह योजना के अंतर्गत 2011 में हुई थी. उनकी दो बेटियां भी हैं. पति शुरू से ही शराब पीता है और मना करने पर अनीता को मारता-पीटता था. अनीता एक पढ़ी-लिखी लड़की है. उसने ग्रेजुएशन के साथ साथ जीएनएम और एम.कॉम की भी पढ़ाई की है. वो नर्सिंग का काम कर रही थी. एक दिन अचानक 31 अक्टूबर 2023 को जब वो अस्पताल में थी तभी पति हरि ने एसिड अटैक कर दिया. एसिड अटैक से अनीता बुरी तरह जल गई. घटना करीब 6 महीने पहले की है, लेकिन जख्म अभी भी गहरे हैं.

फिलहाल शुरूआती इलाज के बाद अनीता छांव फाउंडेशन के साथ आ गई हैं. महाराष्ट्र की अनीता को नोएडा का वातावरण बहुत गर्म महसूस हो रहा है लेकिन उन्हें यहां रहकर इलाज भी कराना है. उन्हे संस्था ने आश्वासन दिया है कि आगे का इलाज कराने के साथ वह उन्हे एक अच्छे अस्पताल में नौकरी भी दिलाएगी.

टूना देवी ने एसिड हमले में गंवा दी अपनी दोनों आखें
इसी तरह बिहार के सहरसा की निवासी टूना देवी के ऊपर गांव के ही दबंगों ने पहले घर में डकैती डाली और फिर तेजाब से हमला कर दिया. 24 अप्रैल 2020 को किए गए तेजाब हमले में उनका चेहरा बुरी तरह जल गया और उनकी दोनों आंखें खराब हो गई. फिलहाल टूना देवी भी छांव फाउंडेशन के साथ हैं.

टूना देवी की मदद के लिए उनका एक बेटा राहुल उनके साथ में रहता हैं. जिसे संस्था ने अपने कैफे में नौकरी दी है. इस तरह फाउंडेशन सैकड़ों एसिड सर्वाइवर की मदद कर रही है. इनके साथ फिलहाल दर्जनों महिलाएं और लड़की जुड़कर नोएडा, लखनऊ, आगरा में स्थित कैफे में नौकरी करके अपना जीवन यापन कर रही हैं.

Tags: Local18



Source link

- Advertisement -spot_img

More articles

- Advertisement -spot_img

Latest article