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Friday, November 15, 2024

यूपी के बाहर चुनाव, योगी बढ़ा रहे विपक्ष का तनाव, राष्ट्रिय राजनीति में छाए

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हाइलाइट्स

यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इन दिनों विपक्ष के निशाने पर है योगी आदित्यनाथ के राष्ट्रीय राजनीति में सक्रिय होने से टेंशन में विपक्ष महाराष्ट्र और झारखंड में हिंदुत्व के कार्ड से CM योगी ने विपक्ष को घेरा

लखनऊ. उत्तर प्रदेश के उपचुनाव के साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ महाराष्ट्र और झारखण्ड विधानसभा चुनाव में भी ताबड़तोड़ रैलियां कर बीजेपी के पक्ष में माहौलक बना रहे हैं. यही वजह है कि विपक्ष की टेंशन और ज्यादा बढ़ती नजर आ रही है. यही वजह है कि विपक्ष हिंदुत्ववादी छवि का मॉडल बने योगी आदित्यनाथ पर निशाना साध कर मुस्लिम वोट बैंक को सहेजने की रणनीति बना रहा है.

देश के मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने दो दिनों तक लगातार सीएम योगी आदित्यनाथ पर ही हमला बोला. यह सिर्फ सियासी वार नहीं बल्कि सीधे योगी आदित्यनाथ की वेशभूषा और उन्हें आतंकवादी बताना यह दिखा रहा है कि किस तरह से वे विपक्ष के लिए चुनौती बने हुए हैं. झारखंड में जैसे ही योगी आदित्यनाथ की रैलियां शुरू हुई, पूरा विपक्ष उनपर हमलावर हो गया. महाराष्ट्र में योगी आदित्यनाथ पर पूरा विपक्ष लगातार हमले बोल रहा है.

इस वजह से विपक्ष के निशाने पर योगी
दरअसल, यह महज संयोग नहीं बल्कि योगी आदित्यनाथ अब राष्ट्रीय राजनीति के केंद्र में आकर विपक्ष के लिए बड़ी चुनौती पेश कर रहे हैं.  जिसकी वजह से समूचा विपक्ष मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को टारगेट कर रहा है. देश के सबसे बड़े राज्य का सुशासन मॉडल बन चुके योगी आदित्यनाथ की हिंदुत्व की छवि पूरे देश में बीजेपी को फायदा पहुंचा रही. वहीं विपक्ष योगी पर निशाना साध के मुस्लिम वोट बैंक को पाले में करने की जुगत में है.

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‘बंटोगे तो कटोगे’ के नारे में फंसा विपक्ष
मुख्यमंत्री योगी ने जो कहा वह किया का मॉडल हिट हो रहा है. जिस तरह से यूपी में माफियाओं पर बुलडोजर चला, इस बुलडोजर मॉडल की गूंज ऐसी हुई कि विपक्षी पार्टियों की सरकारों ने इसे अपनाया। उसके बाद सीएम योगी के ‘बंटोगे तो कटोगे’ के नारे की ऐसी हवा चली कि पूरा विपक्ष इसमें उलझ गया और महाराष्ट्र और झारखंड में भी यह नारा जमकर गूंज रहा है. इतना ही नहीं मुख्यमंत्री योगी के नारे को पीएम नरेंद्र मोदी ने आगे बढ़ाते हुए कहा कि ‘एक हो तो सेफ हो’. यही नहीं आरएसएस ने भी योगी के नारे पर अपनी मुहर लगाकर इसे बीजेपी का राष्ट्रीय स्तर पर मूल मंत्र बना दिया है. योगी आदित्यनाथ ने पिछले दिनों शैली में बदलाव करते हुए सिर्फ हिंदुत्व के एजेंडे पर ही नहीं मंचों से विपक्ष के अपराध और भ्रष्टाचार पर प्रहार के साथ ही जमीन पर दलितों और पिछड़ों को संगठित करने के मंत्र में जुटे हैं.

भ्रष्टाचार के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति भी हिट
योगी आदित्यनाथ सरकार में दंगे पर पूरी तरह से लगाम लगी जो कि यूपी के लिए बड़ी उपलब्धि थी. योगी पहले सीएम हैं जिनके चेहरे पर दोबारा मजबूत सरकार बनी. यानी कि योगी के काम और नाम पर जनता ने मुहर लगा के यह साबित किया कि उनका कोई विकल्प नहीं है. भ्रष्टाचार को लेकर योगी सरकार ने ऐसा प्रहार किया कि 1245 से ज्यादा सरकारी अधिकारियों को नौकरी से बाहर का रास्ता दिखाया और 3453 से ज्यादा को निलंबित किया गया. यानी कि योगी ने भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की नीति को चरितार्थ भी किया.

कमजोर और दलितों को दे रहे सन्देश
भूमाफियाओं और अपराधियों के कब्जे वाली जमीनों पर बुलडोजर चलाकर वहां गरीबों के लिए आवास बनाकर कमजोर और मजलूमों की सरकार का संदेश योगी दे रहे हैं. दलितों और पिछड़ों के लिए मंच से योगी आदित्यनाथ आवाज उठाते हुए नजर आते हैं. सीएम योगी ने अलीगढ़ में मंच से दलितों और पिछड़ों की जोरदार वकालत करते हुए कहा कि केंद्र के पैसे से चलने वाली यूनिवर्सिटी में वंचितों-पिछड़ों को आरक्षण नहीं’. इसे अखिलेश यादव के पीडीए फॉर्मूले की काट के तौर पर देखा जा रहा है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ यह दिखाने में जुटे है कि समाजवादी पार्टी का पीडीए मुस्लिम परस्त है.

Tags: Assembly by election, CM Yogi Adityanath, Lucknow news



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