7.6 C
Munich
Thursday, October 3, 2024

बकरियों के लिए किसी वरदान से कम नहीं हैं इन 7 पौधों के पत्ते! होगी छप्परफाड़ कमाई, एक्सर्ट से जानें सबकुछ

Must read


रायबरेली: हमारे देश की लगभग 80% आबादी खेती पर निर्भर है, लेकिन अब किसान अपनी आय बढ़ाने के लिए पशुपालन की ओर भी रुख कर रहे हैं. बकरी, मुर्गी, सूअर, गाय और भैंस जैसे पशुओं का पालन करके किसान अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं. पशुपालन न केवल ग्रामीण भारत में, बल्कि शहरी क्षेत्रों में भी एक उभरता हुआ व्यवसाय बन गया है.

आज के समय में पढ़े-लिखे युवा भी पशुपालन में रुचि ले रहे हैं. हजारों युवा अच्छी-खासी नौकरी छोड़कर गाय, भैंस और बकरी पालन में अपनी किस्मत आजमा रहे हैं. बकरी पालन का व्यवसाय तेजी से फैल रहा है क्योंकि इससे दोहरा मुनाफा होता है—बकरी के दूध और मांस की बढ़ती मांग इसे एक आकर्षक व्यवसाय बना रही है.

बकरी पालन में देखभाल और आहार का महत्व
हालांकि, बकरी पालन से मुनाफा तभी संभव है जब उनकी सही देखभाल और पोषण का ध्यान रखा जाए. इसके लिए बकरियों को संतुलित आहार देना बेहद जरूरी है. रायबरेली जिले के राजकीय पशु चिकित्सालय, शिवगढ़ के प्रभारी अधिकारी, डॉ. इंद्रजीत वर्मा (एमवीएससी वेटनरी), जो पशु चिकित्सा के क्षेत्र में 20 वर्षों का अनुभव रखते हैं, बताते हैं कि बकरियों के आहार में हरी पत्तियां शामिल करना बेहद लाभकारी होता है.

बकरियों के आहार में हरी पत्तियों का महत्व
डॉ. वर्मा के अनुसार, बकरियों को बबूल, मोरिंगा, नीम, जामुन, बेल, अमरूद और गिलोय जैसे पौधों की पत्तियां खिलाने से उनका स्वास्थ्य बेहतर होता है और वजन बढ़ता है. इन पौधों की पत्तियों में मौजूद औषधीय गुण बकरियों के शरीर को स्वस्थ रखते हैं और आसानी से सभी जगह मिल जाते हैं.

प्रोटीन से भरपूर पौधे और डीवार्मिंग का महत्व
नीम, जामुन, बेल की पत्तियों में टेनिन कंटेंट और प्रोटीन होता है, जो बकरियों के पेट में कीड़ों को खत्म करने के साथ ही वजन बढ़ाने में सहायक होता है. सुबबुल और बरसीम की पत्तियों में उच्च मात्रा में प्रोटीन होता है, जो उनके स्वास्थ्य के लिए बहुत फायदेमंद है. इसके अलावा, डॉ. वर्मा ने बताया कि बकरियों के विकास के लिए समय-समय पर डीवार्मिंग आवश्यक है, जो उनके विकास में 30% तक वृद्धि करती है.

Tags: Animal husbandry, Local18



Source link

- Advertisement -spot_img

More articles

- Advertisement -spot_img

Latest article