हाइपरटेंशन की समस्या भारत में तेजी से बढ़ रही है, जिससे हार्ट को खतरा हो सकता है.एक्सपर्ट्स की मानें तो हाई ब्लड प्रेशर की समस्या कार्डियोवैस्कुलर डिजीज की बड़ी वजह है.
Tips To Prevent Hypertension: आज के दौर में हाइपरटेंशन की बीमारी महामारी की तरह फैल रही है. जब किसी व्यक्ति की ब्लड वेसल्स में प्रेशर सामान्य से ज्यादा हो जाता है, तब इसे हाई ब्लड प्रेशर या हाइपरटेंशन कहा जाता है. हाइपरटेंशन एक गंभीर बीमारी है, जो बहुत से लोगों को होती है, लेकिन कई लोगों को पता ही नहीं होता कि उन्हें यह बीमारी है. हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें तो हाइपरटेंशन की वजह से बड़ी संख्या में लोग कार्डियोवैस्कुलर डिजीज का शिकार हो जाते हैं. यही वजह है कि इसे साइलेंट किलर भी कहा जाता है. हाइपरटेंशन पर ध्यान न दिया जाए, तो यह बीमारी खतरनाक हो सकती है. इसलिए ब्लड प्रेशर को ठीक से नापना और उस पर कंट्रोल रखना बहुत ज़रूरी है. आज वर्ल्ड हाइपरटेंशन डे के मौके पर डॉक्टर्स की राय जान लेते हैं.
ग्रेटर नोएडा के फोर्टिस हॉस्पिटल के इंटरवेंशनल कार्डियोलॉजी डिपार्टमेंट के एडिशनल डायरेक्टर डॉ. विवेक टंडन ने News18 को बताया कि हाइपरटेंशन दो प्रकार का होता है. प्राइमरी हाइपरटेंशन और सेकेंडरी हाइपरटेंशन. प्राइमरी हाइपरटेंशन काफी कॉमन होता है और इसका कोई सटीक कारण नहीं होता है. यह जेनेटिक फैक्टर्स, डाइट, एक्सरसाइज जैसे फैक्टर्स की वजह से हो सकता है. सेकेंडरी हाइपरटेंशन कॉमन नहीं होता है और किसी मेडिकल कंडीशन जैसे किडनी प्रॉब्लम या थायरॉयड डिसऑर्डर के कारण होता है. भारत में हाइपरटेंशन एक बड़ी समस्या है. शहरी क्षेत्रों में लगभग 33% और ग्रामीण क्षेत्रों में 25% लोग हाइपरटेंशन से पीड़ित हैं. हालांकि इनमें से केवल 40% शहरी और 25% ग्रामीण लोगों को ही इस बीमारी का पता है.
डॉक्टर टंडन कहते हैं कि कम और मध्यम आय वाले देशों में हाई ब्लड प्रेशर को कंट्रोल करना मुश्किल हो सकता है, क्योंकि इन देशों में कई लोगों को हाइपरटेंशन के खतरों और लक्षणों के बारे में पता नहीं होता है. इसके अलावा ग्रामीण और अविकसित क्षेत्रों में डॉक्टरों और स्वास्थ्य सेवाओं की कमी है. जागरुकता बढ़ाकर, स्वास्थ्य सेवा तक पहुंच को बढ़ाकर और सटीक ब्लड प्रेशर मॉनिटरिंग के जरिए इस परेशानी को काफी हद तक कंट्रोल करने में मदद मिल सकती है. डॉक्टर का मानना है कि 90% हाइपरटेंशन के मामले लाइफस्टाइल और डाइट में जरूरी बदलाव से रोके जा सकते हैं.
लखनऊ के मेदांता हार्ट इंस्टीट्यूट में क्लिनिकल एंड प्रिवेंटिव कार्डियोलॉजी के डायरेक्टर डॉ. आरके सरन ने News18 को बताया कि हर 5वें वयस्क व्यक्ति का ब्लड प्रेशर 130/ 80 mg/dL से अधिक है. इसकी प्रमुख वजह बिगड़ी हुई लाइफस्टाइल है. कई लोगों को इसे कंट्रोल करने के लिए रोजाना एक टेबलेट लेने की जरूरत पड़ती है. बीपी कंट्रोल के लिए रोजाना अच्छी लाइफस्टाइल, ब्रिस्क वॉक, वजन कम करना, कम फैट, कम नमक और कम शुगर वाली डाइट, फलों और सब्जियों का खूब सेवन, स्मोकिंग छोड़ना और योग बेहद जरूरी है. इन सभी चीजों से एंटीहाइपरटेन्सिव दवाओं की खुराक को कम किया जा सकता है. सभी लोगों को समय-समय पर अपना बीपी चेक करना चाहिए और यह बढ़ा हुए निकले, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क कर कंसल्ट करें.
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FIRST PUBLISHED : May 17, 2024, 09:25 IST