आजमगढ़: महाराजा सुहेलदेव राज्य विश्वविद्यालय का पहला दीक्षांत समारोह सोमवार को खत्म हुआ. इस समारोह में विश्वविद्यालय की कुलाधिपति और उत्तर प्रदेश की राज्यपाल, महामहिम आनंदीबेन पटेल ने आजमगढ़ और मऊ के 83 मेधावी छात्रों को गोल्ड मेडल और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया.
महामहिम राज्यपाल ने अपने संबोधन में बालिकाओं की शिक्षा पर जोर दिया और समाज की सोच पर सवाल उठाते हुए, लड़कियों की शिक्षा के प्रति सकारात्मक बदलाव की आवश्यकता पर बल दिया. उन्होंने बालिकाओं को शिक्षा में प्रोत्साहित करने के साथ-साथ युवाओं को आत्मनिर्भर बनने और स्वरोजगार से जुड़ने के लिए प्रेरित किया. साथ ही, राज्यपाल ने सरकार द्वारा बालिकाओं और युवाओं के लिए चलाई जा रही योजनाओं की जानकारी दी. उन्होंने यह भी कहा कि बालिकाओं को शिक्षा के क्षेत्र में सीमित अवसर मिलते हैं, जबकि जब उन्हें मौका मिलता है, तो वे लड़कों से कहीं बेहतर प्रदर्शन करती हैं.
इस प्रथम दीक्षांत समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में भटिंडा, पंजाब यूनिवर्सिटी के कुलपति डॉ. राघवेंद्र प्रसाद तिवारी मौजूद थे. कार्यक्रम के विशेष अतिथि उत्तर प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री योगेंद्र उपाध्याय और राज्य मंत्री डॉ. रजनी तिवारी ने भी समारोह में शिरकत की. भटिंडा यूनिवर्सिटी के कुलपति डॉ. तिवारी ने भी शिक्षा के महत्व पर जोर देते हुए महत्वपूर्ण बातें साझा कीं. उच्च शिक्षा मंत्री ने राज्यपाल द्वारा उत्तर प्रदेश में शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारने के लिए किए गए प्रयासों की सराहना की.
इस वर्ष मार्च महीने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस विश्वविद्यालय का उद्घाटन किया था. पिछले दो वर्षों से अस्थाई कार्यालय बनाकर विश्वविद्यालय का संचालन हो रहा था, लेकिन अब इसका स्थायी कैंपस बनकर तैयार हो गया है. इसके साथ ही विश्वविद्यालय से संबंधित सभी कार्यक्रम कैंपस में ही आयोजित किए जा रहे हैं. यह विश्वविद्यालय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट में से एक है, और इसके साथ आजमगढ़ और मऊ जनपद के 469 महाविद्यालय संबद्ध हैं, जिनमें चार राजकीय महाविद्यालय भी शामिल हैं.
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FIRST PUBLISHED : September 25, 2024, 17:04 IST