जयपुर न्यूज़
(G.N.S)
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि लॉकडाउन के कारण फंसे प्रवासी श्रमिक जो प्रदेश से बाहर अपने घर जाना चाह रहे हैं उनके जाने का किराया राज्य सरकार वहन करेगी। उन्होंने कहा कि हमारी सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि संकट की इस घड़ी में फंसे श्रमिकों को घर जाने के लिए यात्रा किराए का भुगतान स्वयं नहीं करना पड़े। ऐसे लोग जो अपने राज्य में रेल से जाना चाहते हैं, उनके रेलवे यात्रा किराये का भुगतान तथा सड़क मार्ग से जाने वालों को राजस्थान की सीमा तक बस से निशुल्क पहुंचाने की व्यवस्था भी राजस्थान सरकार करेगी।
मुख्यमंत्री गहलोत सोमवार को वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए कोरोना संक्रमण रोकने के उपायों, लॉकडाउन एवं प्रवासी श्रमिकों के आवागमन को लेकर नोडल अधिकारियों, विभिन्न विभागों के अधिकारियों, जिला कलक्टरों-पुलिस अधीक्षकों, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से चर्चा कर रहे थे। उन्होंने कहा कि केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने अपनी नई गाइडलाइन में अन्तर्राज्यीय आवागमन के लिए उन्हीं श्रमिकों और प्रवासियों को अनुमत किया है जो लॉकडाउन के कारण अपने घर से दूर अन्य राज्यों में अटक गए हैं। जिला कलक्टर इस गाइडलाइन की पूरी तरह से पालना सुनिश्चित करें।
श्रमिकों को क्वारेंटाइन में रहना होगा
मुख्यमंत्री ने कहा कि संक्रमण से बचाव के लिए दूसरे राज्यों से आने वाले प्रवासियों एवं श्रमिकों को आवश्यक रूप से क्वारेंटाइन में रहना होगा। जिन लोगों में खांसी, जुकाम एवं बुखार के लक्षण हैं, उन्हें संस्थागत क्वारेंटाइन में रखा जाए। अन्य व्यक्ति आवश्यक रूप से अपने घर में होम क्वारेंटाइन में रहें। जिला कलक्टर यह सुनिश्चित करें और इसमें किसी तरह की लापरवाही न हो।
इलाज से मना करने वाले निजी अस्पतालों पर हो सख्ती
गहलोत ने निर्देश दिए कि ऐसे प्राइवेट हॉस्पीटल्स के खिलाफ सख्त कार्रवाई करें जो संकट की इस घड़ी में मरीजों का इलाज नहीं कर मानव सेवा के अपने नैतिक दायित्व का पालन नहीं कर रहे हैं। जिला कलक्टर ऐसे निजी अस्पतालों के खिलाफ शिकायतों पर कड़ी कार्रवाई करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि गैर कोविड रोगियों को उनके घर के नजदीक ही चिकित्सा सुविधा देने के लिए राज्य सरकार ने 428 मोबाइल ओपीडी वैन संचालित की हैं जिनका आमजन को लाभ मिल रहा है। श्री गहलोत ने गंभीर बीमारियों के मरीजों के उपचार के साथ-साथ संस्थागत प्रसव एवं टीकाकरण पर पूरा ध्यान रखने के निर्देश दिए।
निम्बाहेड़ा में रूथलेस कंटेनमेंट करें
मुख्यमंत्री ने कहा कि भीलवाडा में जिस तरह रूथलेस कंटेनमेंट के कारण कोरोना संक्रमण का फैलाव रोकने में सफलता मिली है वही मॉडल चित्तौडगढ़ जिले के निम्बाहेडा में अपनाया जाए क्योंकि वहां एकाएक कई पॉजिटिव केस सामने आये हैं। उन्होंने कहा कि यहां पूरी प्लानिंग के साथ कंटेनमेंट पर फोकस किया जाए। कर्फ्यू एरिया में इसका पालन सख्ती से कराया जाए और सैंपल कलेक्शन की संख्या बढायी जाए। यह सुनिश्चित किया जाए कि सैंपल टेस्टिंग के परिणाम में देरी नहीं हो और टेस्टिंग के लिए सैंपल उदयपुर की बजाय भीलवाडा भेजे जाएं। उन्होंने निम्बाहेडा एवं आस-पास के क्षेत्रों में घर-घर सर्वे एवं स्क्रीनिंग करने के निर्देश दिए।