विशाल भटनागर/ मेरठ: पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मेरठ के विभिन्न मार्गों पर भक्ति के अनोखे रंग दिखाई दे रहे हैं. जिस उम्र में छोटे-छोटे बच्चे आपको गलियों में खेलते हुए दिखाई देते हैं, उस उम्र के बच्चे भोले भक्ति के रंग में रंगकर हरिद्वार से पैदल ही गंगाजल लेकर भोले बाबा की विधि विधान के साथ पूजा अर्चना करने में लगे हुए हैं. इन भोले का कहना है कि उन्हें कुछ नहीं चाहिए सिर्फ परिवार की खुश रहे.
छोटे भोले की जिद मैं भी जाऊंगा हरिद्वार
मुरादनगर के रहने वाले भोले रवि बताते हैं कि उनका चार साल का बेटा है. घर में जहां पर विधि विधान के साथ पूजा अर्चना करता है, वहीं अब हरिद्वार जाने की भी जिद करने लगा. अब वह नाचते गाते हुए हरिद्वार से उनके साथ कांवड़ लेकर आ रहा है. उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद नहीं थी कि उनका बेटा इतनी छोटी सी उम्र में इतना पैदल चलते हुए कांवड़ लाएगा. इसी तरह से दिल्ली के रहने वाले भोले ने बताया कि उनके दोनों बेटे जिनकी उम्र 7 साल में 11 साल है. वह पिछले 3 साल से लगातार उनके साथ कांवड़ लेकर आ रहे हैं.
बिन मांगे मिलता है सब कुछ मांगने की जरूरत नहीं
भोले भक्त कहते हैं कि भोले बाबा से मांगने की कुछ भी आवश्यकता नहीं होती. वह तो भोले हैं. सभी भक्तों की इच्छा पूरी करते हैं. बता दें कि कई भोले तो ऐसे मिले जिन्होंने बताया कि आर्थिक तंगी के बीच अबकी बार उम्मीद भी नहीं थी वह हरिद्वार से कांवड़ लेकर आ पाएंगे. लेकिन भोले बाबा की ऐसी कृपा हुई कि जहां परिवार में जो परेशानियां चल रही थी, वह भी दूर हुई और अब हरिद्वार से खुशी के साथ कांवड़ लेकर आ रहे हैं.
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FIRST PUBLISHED : July 31, 2024, 12:21 IST