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फर्रुखाबाद के हुसैनपुर गांव निवासी किसान सूबेदार सिंह ने Local18 को बताया वह अपने खेतों में तोरई, लौकी, शलजम जैसी सब्जियों की मिश्रित रूप से उगाते हैं. जिसमें आमतौर पर एक हजार रुपए प्रति बीघा की लागत आती है. वहीं, जब एक बार सब्जियां तैयार हो जाती हैं, तो बंपर आमदनी के साथ ही कैश भी आना शुरू हो जाता है. क्योंकि सबसे पहले तोरई की फसल तैयार होती है, जो हर सप्ताह तुड़ाई की जाती है.